प्रधानमंत्री मोदी के करिश्माई नेतृत्व का कमाल, आज देश 100 करोड़ वैक्सीनेशन पार, कांग्रेस ने वैक्सीनेशन का किया राजनीतिकरण, नहीं ली जनता की सुध, आरोप लगाने में रहे नम्बर वन : कर्नल राज्यवर्धन,,

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जयपुर, 21 अक्टूबर 2021।(निक राजनीतिक) 100 करोड़ वैक्सीनेशन की ऐतिहासिक उपलब्धि पर भाजपा प्रदेश मुख्यालय परिसर में नमो टी स्टॉल पर कार्यकर्ताओं व आमजन को चाय पिलाई गई। इस अवसर पर राष्ट्रीय प्रवक्ता एवं सांसद कर्नल राज्यवर्धन सिंह राठौड़, प्रदेश उपाध्यक्ष एवं विधायक चन्द्रकांता मेघवाल, प्रदेश मंत्री जितेन्द्र गोठवाल, प्रेदश मीडिया संयोजक पंकज जोशी, सह-संयोजक अशोक सिंह शेखावत इत्यादि पदाधिकारी एवं कार्यकर्ता मौजूद रहे ।भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश मुख्यालय में राज्यवर्धन सिंह राठौड़ ने 100 करोड़ लोगों को वैक्सीन लगाए जाने पर प्रेस वार्ता की। कर्नल राठौड़ ने कहा कि यह विश्व का सबसे बडा वैक्सीनेशन अभियान है, केन्द्र सरकार ने इस चुनौती को स्वीकार किया और देश में वैक्सीन बनाने में सफलता पाई। विश्व में इस बिमारी का कोई ईलाज नही था, विकसित देश भी कोरोना से जूझ रहे थे, नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में अप्रेल 2020 से वैक्सीनेशन की तैयारी शुरू कर दी गई।

जब कोरोना का संक्रमण चल रहा था, तब 14 अप्रेल 2020 को एक टॉक्स फोर्स गठित की गई, जिसमें टेक्नीकल एक्सपर्ट, सम्बिंधित मंत्रालय व विभाग तथा साइंटिफिक इंस्टिटयूट भी शामिल थे। केन्द्र सरकार ने राज्यों को वैक्सीन कैसे वितरित की जायेगी और कम समय में वैक्सीन आम जन को लगाई जा सके, इसपर कुशल प्रबंधन टीम एवं टैक्नीकल एक्सपर्ट के साथ वैक्सीनेशन कार्यक्रम की मॉनिटरिंग की गई।
राठौड़ ने बताया कि देश में वैक्सीन के सफल परीक्षण के बाद प्रथम चरण में हैल्थकेयर वकर्स, फ्रन्ट लाईन वकर्स से शुरूआत की गई। दूसरे चरण में 60 साल से ऊपर वालो को, तीसरे चरण में 45 से ऊपर से वालो को और उसके बाद में चौथे चरण में 18 साल से ऊपर वालो के लिए भी मुफ्त वैक्सीन का कार्यक्रम शुरू किया गया। केन्द्र सरकार के कुशल प्रबंधन के चलते देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 10 बैठके ली और 28 नवम्बर 2020 को जहां-जहां वैक्सीन बनती थी, उन तीनों कम्पनियों के अन्दर मोदी स्वंय जाकर निरक्षण किया। आज की तारीख में देश के अन्दर 6 वैक्सीन तैयार हो गये है, जिनमें से 3 वैक्सीन को स्वीकृति मिल गई हैं। जो वैक्सीन इस्तेमाल हो रहे है,उनमें से 2 ऐसे है जो भारत में ही बने है यह भारत के लिए बहुत बडे़ गर्व की बात है। वैक्सीन को बनाना, वैक्सीन्स को आमजन तक पहुंचाना, दोनो बहुत बडी जिम्मेदारियां है।

    साथ ही राठौड़ ने बताया कि वैक्सीन बहुत सारे जैविक रसायन से मिलकर तैयार होती है वो सारे रसायन ऐसा नही है कि सभी भारत में ही उपलब्ध हो ऐसे में उन्हें अन्य देशों से एकत्रित करना पड़ा। तकरीबन 100 से ज्यादा जैविक रसायन व अन्य रसायन पदार्थ का प्रयोग कर वैक्सीन बनाई गई, रसायन पदार्थ भी अलग-अलग देशों से आते थे।
    राठौड़ ने कहा कि पहली डोज और दूसरी डोज को मिलाकर हम 100 करोड़ डोजेज लगाई जा चुकी है। अन्य राष्ट्रो के मुकाबले जैसे यूएसए में मात्र 40 करोड, तथा ब्राजील, जापान, टर्की व इंडोनेशिया भारत से पिछे है। गौरव कि बात है इतनी बडी चुनौती भारत ने इतनी सफलता से पूरी कर ली, कुशल नेतृत्व में 100 करोड़ का लक्ष्य दिसम्बर माह में हासिल करना था वह अक्टूबर में ही पूरा कर लिया। मोदी के जन्मदिन के अवसर पर 2.5 करोड़ लोगो को वैक्सीन लगी जो कि एक रिकॉर्ड हैं।